मुंबई। काले धन पर शिकंजा कसने के उद्देश्य से केंद्र सरकार द्वारा 8 नवंबर को 500 और 1000 के नोटों पर बैन लगा दिया गया। इसके बाद देशभर में अफरातफरी का माहौल है। लोग लाइन में लगे हुए हैं। विपक्षी पार्टियां भी सरकार को घेर रही हैं। सरकार नोटबंदी को लेकर दस महीने की तैयारी बता रही है। लेकिन नोटों की कमी इस दावे की पोल खोल रही है। बहुत सारे लोग नोटबंदी की भेंट चढ़ चुके हैं। ऐसे में लोगों की पहली प्रतिक्रिया भी आ गई है।
नोटबंदी के बाद महाराष्ट्र के लोकल चुनाव में बीजेपी को बड़ा झटका लगा है। दरअसल, बीजेपी पार्टी महाराष्ट्र के एक लोकल एग्रिकल्चरल बॉडी के चुनावों में बुरा तरह से हार गई है। पार्टी को महाराष्ट्र में एग्रिकल्चरल प्रोड्यूस मार्केट कमेटी में 17 सीटों पर पीजेन्ट्स एंड वर्कर्स पार्टी ऑफ इंडिया (पीडब्ल्यूडी), शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी एलायंस और भाजपा में से सदस्यों के चुनाव की प्रक्रिया में भाजपा को एक भी सीट पर पर जीत नहीं मिली है।
दरअसल, इस चुनाव में सबसे अधिक 15 सीटों पीजेन्ट्स एंड वर्कर्स पार्टी ऑफ इंडिया ने जीती हैं। वहीं दूसरी ओर, शिवसेना और कांग्रेस ने एक-एक सीट पर जीत हासिल की है, लेकिन भाजपा को एक भी सीट नहीं मिली। बता दें कि इस चुनाव में कांग्रेस ने 25 साल बाद एपीएमसी पोल में एक सीट जीतने में सफलता हासिल कर ली है। इन चुनावों में हुई जीत का उत्सव मनाते समय स्थिति तब खराब हो गई, जब पीडब्ल्यूडी और कांग्रेस समर्थकों ने कुर्सियां और पत्थर फेंकने शुरू कर दिए। इस दौरान बीजेपी का एक कार्यकर्ता घायल भी हुआ है।
काले धन पर लगाम लगाने के चलते महाराष्ट्र में सामान्य जीवन पर काफी बुरा असर पड़ा है। नोटबंदी के फैसले से रिटेल और खुदरा व्यापारी भी बेहद परेशान हैं। पूरे महाराष्ट्र में बहुत से किसान और मजदूरों को भी इस फैसले की वजह से दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। बाजारों में सन्नाटा है। लोग राशन के बजाय बैंकों की लाइन में लगे हैं।
Courtesy: National Dastak