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वाह रे मोदी सरकार, BJP के सुशासन में 15 दिन से बिजली नहीं शिकायत की तो केंद्रीय मंत्री ने कहा जाओ मर जाओ

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वाह रे मोदी सरकार और उसके मंत्री किसान मरे तो मर जाए हम नहीं रोकेंगे और मारने के लिए उकसायेंगे। ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी केंद्र सरकार के मंत्री ने भरे मंच से किसी किसान को आत्महत्या करने के लिए कहा हो। केंद्रीय मंत्री कोई ऐसा वैसा नहीं कृषि राज्य मंत्री है।मोदी सरकार के कृषि राज्य मंत्री संजीव बालियान सत्ता के घमंड में इस कद्र चूर हैं कि उन्हें किसी फरियादी किसान का दर्द नहीं दिखाई देता है उलटा किसान को खता है की जाओ कर लो जाके आत्महत्या। राजस्थान के टोंक जिले में किसानों के कार्यक्रम में एक किसान ने मंत्री के सामने अपनी फरियाद रखते हुए कहा कि अगर उसकी समस्या हल नहीं हुई तो वो आत्महत्या कर लेगा तो इस पर मंत्री संजीव बालियान ने कहा की जाओ कर लो।

Modi

मंत्री महोदय के सामने एक किसान खुदकुशी की बात कह रहा है। बजाए उसे समझाने के संजीव बालियान कह रहे हैं कि जाओ कर लो। राजस्थान के टोंक जिले में किसान मेले में कई किसान अपनी फरियाद लेकर पहुंचे थे। इन्हीं किसानों में से एक गिरिराज भी अपनी फरियाद लेकर पहुंचा था।
गिरिराज के गांव में पिछले 15 दिनों से बिजली नहीं आ रही है। ये तब है जब भाजपा वाले और पीएम मोदी पूरे देश में भाजपा शाषित प्रदेशों में विकास का ढिंढोरा पीट रहे हैं। भाजपा नेता कहते हैं कि भाजपा शाषित राज्यों में 24 घंटे बिजली आती है।

पिछले 15 दिनों से बिजली नहीं आने की वजह से किसान गिरिराज के खेत में लगी फसल सूख चुकी हैं और जो बची हैं वो भी सूखने की कगार पर हैं। इसी से परेशान होकर वो मंत्री और इलाके के विधायक के सामने बिजली ठीक कराने की फरियाद कर रहा था। कुछ देर के लिए वो मंच के सामने ही बैठ गया, जब उसे वहां से हटाया गया तो वो कह रहा था कि फसल खत्म हो जाएगी तो वो भी मर जाएगा।

गिरिराज मीडिया के सामने भी कह रहा था कि उसकी समस्या दूर नहीं हुई तो वो आत्महत्या कर लेगा। संजीव बालियान इससे पहले भी कई बार अपने बयानों से विवादों में रहे हैं। सवाल है कि अगर किसान बार-बार खुदकुशी की बात कर रहा था तो मंत्री होने के नाते संजीव बालियान ने उसे क्यों नहीं समझाया ?

Courtesy: Dainik Aaj
 

केजरीवाल ने Paytm मुखिया के अहंकरी रवैये पर PM मोदी से मांगा जवाब

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दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने Paytm के मुखिया विजय शेखर की एनुअल पार्टी में अंहकारी रवैये वाला वीडियो वायरल होने पर ट्वीट कर इस कृत्य को शर्मनाक बताया। उन्होेंने कहा कि मोदी जी देश को बताए कि वह आम नागरिकों की कीमत पर किस प्रकार से इस कम्पनी को सर्पोट कर सकते हैं?

अरविंद केजरीवाल

Paytm 2017 एनुअल पार्टी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था जिसमें विजय शेखर झूमते हुए चिल्ला-चिल्ला कह रहे है कि ये है Paytm, जो हमारे साथ नहीं है वो रोएगें

एक साल में वो किया जो उन्होंने 10 साल में नहीं किया

कैसे नहीं होगा?

2017 हमारा होगा, कलेजा दिया, जान दी, खून दिया, सारा कुछ लगा दिया

ब…….?

हमने कुछ सोचा,

और साला दूसरों की पेंट गीली नहीं हुई तो क्या सोचा

अब कोई इंडिया में हमारी तरफ नहीं देख रहा, क्यों?

हमारे को सारा देश नहीं, सारी दुनिया देख रही है

 

नोटबंदी के बाद देश की अर्थव्यवस्था में जहां एक और मंदी के आसार देखें गए और बेरोजगारी व कई तरह की परेशानियो से देश रूबरू होता रहा वहीं दूसरी और पेटीएम ने सीईओ विजय शेखर ने पिछले दिनों Paytm 2017 एनुअल पार्टी में अपनी कामयाबी का जश्न मनाते समय जोश में होश खोते हुए विवादित बयान दिए थे।

आपको बता दे कि जनता का रिपोटर्र पर प्रकाशित खबर का संज्ञान लेते हुए उन्होंने इसकी कड़ी निंदा की। इससे पूर्व दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पीएम मोदी से सवाल किया था कि किस अधिकार के साथ पेटीएम मुखिया ने नोटबंदी के फौरन बाद ही पूरे पेज का विज्ञापन सभी प्रमुख समाचार पत्रों में दिया था।

 

इस पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि कि ई-काॅमर्स कंपनी Paytm के साथ हुए गुप्त समझौते का क्या रहस्य है? उन्होंने ट्वीट कर आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री की घोषणा के बाद Paytm को सर्वाधिक लाभ मिला, घोषणा के बाद अखबारों के फ्रंटपेज पर पेटीएम कम्पनी प्रधानमंत्री मोदी का धन्यवाद करती नज़र आ रही है। इसके पीछे क्या डील है।

Courtesy: Janta Ka Reporter
 

बीजेपी मुख्यालय में भाजपाइयों ने लगाए अमित शाह मुर्दाबाद के नारे

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नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा में बगावत शुरु हो गई हैं। भाजपा ने उम्मीदवारों की जो लिस्ट जारी की है उसमें “बाहरी” लोगों को शामिल किए जाने से नाराज यूपी बीजेपी कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन किया। भाजपा कार्यकर्ता बुधवार को अशोका रोड स्थित बीजेपी मुख्यालय पहुंचे। जहां गुस्साए कार्यकर्ताओं ने ना सिर्फ पोस्टर लहराए बल्कि भाजपा के वरिष्ठ नेताओं समेत अमित शाह के खिलाफ नारेबाजी भी की।

Amit Shah
 
इस दौरान कुछ कार्यकर्ता पार्टी ऑफिस के अंदर प्रदर्शन कर रहे थे, वहीं अधिकतर लोग बाहर से नारेबाजी कर रहे थे। नारेबाजी में 'अमित शाह मुर्दाबाद, बाहरी लोगों को टिकट देना बंद करो, पुराने कार्यकर्ताओं की इज्जत करो' जैसे नारे लगाए गए। वहीं भाजपाइयों ने कई बैनर भी लहराए जिनपर लिखा था, 'सर्वे के नाम पर झूठ बोलना बंद करो और बाहरी लोगों का सम्मान, वहीं अपने कार्यकर्ताओं का अपमान बंद करो।'
 
दरअसल इन कार्यकर्ताओं की नाराजगी केंद्रीय मंत्री महेश शर्मा से थी, जोकि यूपी के नोएडा से भाजपा सांसद हैं। भाजपाइयों ने एक बैनर पर लिखा था, 'महेश शर्मा को अनैतिक तरीके से पार्टी पर कब्जा बंद करना चाहिए।' इसके अलावा उत्तर प्रदेश चुनावों के लिए यूपी के बीजेपी प्रभारी ओम माथुर के खिलाफ भी नारेबाजी की गई। कार्यकर्ताओं का आरोप है कि पार्टी ने उनका इस्तेमाल रैलियों में भीड़ जुटाने के लिए किया, लेकिन प्रत्याशियों को चुनते हुए उन्हें भुला दिया गया।

आपको बता दें कि भाजपा में बाहरी लोगों को शामिल किए जाने के खिलाफ यूपी में कई जगह पार्टी के खिलाफ प्रदर्शन हुआ। कई जगहों पर पार्टी का झंडा और सीनियर लीडर्स के पुतले जलाए गए हैं। वहीं, भाजपा नेता यह कहते हुए पल्ला झाड़ रहे है कि चुनाव आने पर ऐसी घटनाएं आम होती हैं। उनका कहना है कि भाजपा ने दूसरी पार्टी के उन नेताओं को शामिल किया है जो अपने क्षेत्र में दबदबा रखते हैं।

Courtesy: National Dastak
 

केंद्रीय मंत्री को चुनाव से पहले याद आया अन्य पिछडे वर्ग का आरक्षण

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नई दिल्ली। केंद्रीय मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री उपेंद्र कुशवाहा को पांच राज्यों में चुनाव के आते ही अन्य पिछड़े वर्ग की याद आई है। उपेंद्र कुशवाहा ने अन्य पिछड़ा वर्ग के  वोटरों को लुभाने के लिए पांसा फेंकना शुरु कर दिया है। दिल्ली में एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा कि नवोदय विद्यालयों में अन्य पिछड़ा वर्ग के छात्रों के लिए आरक्षण न होना चिंता का विषय है।


 
देश के जवाहर नयोदय विद्यालयों में अन्य पिछड़ा वर्ग के छात्रों को आरक्षण के लिए आरक्षण नहीं है।। उन्होंने कहा कि "नवोदय विद्यालय में अन्य पिछड़ा वर्ग का आरक्षण नहीं होना विसंगति है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि आने वाले समय में सरकार इस मुद्दे को संज्ञान में लेगी।"
 
राज्य मंत्री ने कहा कि देश में 600 जवाहर नवोदय विद्यालय हैं। लेकिन किसी भी विद्यालय में आरक्षण लागू नहीं है। उपेंद्र कुशवाहा ने का मानना है "जवाहर नवोदय विद्यालयों में ओबीसी के संबंध में आरक्षण के प्रावधानों को लागू नहीं किया गया, ये खुद मुझे अच्छा नहीं लगता है।" 
केंद्रीय मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री ने ये बातें राष्ट्रीय सांस्कृतिक एकता सम्मलेन के दौरान कहीं। उनके मुताबिक "मंत्रालय, हमारे मंत्री और हम सभी का ध्यान इस दिशा में गया है। उन्होंने लोगों को विश्वास दिलाया कि आने वाले समय में इस समस्या को हल किया जाएगा।"
 
प्रकाश जावड़ेकर ने कहा "जवाहर नवोदय विद्यालयों में प्रवेश प्रतियोगिता परीक्षाओं के जरिए दिया जाता है, और इस साल करीब 22 लाख बच्चों ने प्रतियोगी परीक्षा में भाग लिया था जिनमें 40,000 को चुना गया। प्रकाश जावड़ेकर ने आगे कहा कि नवोदय विद्यालयों में अनुसूचित जाति के बच्चों के लिए भी आरक्षण का कम प्रावधान है लेकिन 25 फीसद बच्चे एससी कैटेगरी से आते हैं।" 
 
केंद्रीय मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री उपेंद्र कुशवाहा राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के नेता हैं जो केंद्र में राजग सरकार में सहयोगी हैं. उनका बयान ऐसे समय में आया है जब उत्तर प्रदेश समेत पांच राज्यों में अगले महीने चुनाव होना है।

Courtesy: National Dastak