Categories
Communalism Freedom Minorities Politics

दानिश की शहादत पर मीडिया चुप क्यों, शायद शहीदों के अंदर भी धर्म ढूंढा जा रहा

आजमगढ़। सेना का जवान कहते वक्त मन में न जाने कितनी बातें मन में उमड़ती हैं। सैनिकों के जज्बे को लेकर मन में न जाने कितने भाव उमड़ पड़ते हैं। 

आजमगढ़ के गावं नदवा सराय के रहने वाले कमांडर दानिश खान कल सीमा की हिफाज़त करते वक्त दुश्मन की गोली से शहीद हो गया। देश की सुरक्षा और अपनी जिम्मेदारी को निभाते हुए दानिश की जान गई।

Danish

दानिश की अभी हाल ही में शादी हुई थी। उनकी शादी को अभी एक साल भी पूरा नहीं बीता था। इसी साल 26 फरवरी को दानिश का निकाह हुआ था। देश की जिम्मेदारी की कसमें खाकर लौटा रज़ीजुद्दीन उर्फ दानिश को क्या पता था कि इतने कम समय में उसे इस मिट्टी की हिफाजत करते हुए शहीद होना पड़ेगा।

सिर्फ यही नहीं दानिश ने अपनी शादी से पहले अपनी बहन की भी शादी की। कमांडर दानिश खान आजमगढ़ के नदवा सराय कस्बे में रहते थे। जिस आंगन को 9 महिने पहले खुशी मिली थी वह आंगन आज ग़म में बैचेन है। कंमाडर दानिश देश की मिट्टी की हिफाजत करने में शहीद हो गए। 

सलीम जावेद लिखते हैं..
मेरे शहर से तीन किलोमीटर के फासले पर एक छोटा सा गाँव है, जिसका नाम 'नदवा सराय' है। जो मऊनाथ भंजन आज़मगढ़ में आता है। उसी मिटटी का एक लाल कश्मीर बॉर्डर पर कल शहीद हो गया, जिसकी पहचान 'रज़ीउद्दीन खान दानिश' नाम से है। यह उसी मिटटी का लाल है जिसे प्रधानमंत्री जी के मंत्री आतँकगढ़ के नाम से पुकारते हैं, उसी मिटटी का एक लाल देश के लिए क़ुर्बान हो गया। 
 
मीडिया चुप है, शायद शहीदों के अंदर भी धर्म ढूंढा जा रहा है। रज़ीउद्दीन, आज तुमने एक ऐसे मिटटी का नाम रौशन किया है, जिसके माथे पर आतंक का लेबल लगाया जाता रहा है। गर्व से सीना चौड़ा हो रहा है। इतना गर्व हमें तुम पर है तो सोच रहा हूँ तुम्हारे मां-बाप को तुम पर कितना नाज़ होगा।
 
देश में इस वक्त जो हालत हैं और जिस तरह मुस्लिम टारगेट किए जा रहें हैं वहां दानिश कि शहादत को कैसे लिया जाएगा यह देखना होगा। यह इसलिए भी कि आपको लश्कर से मुठभेड़ के दौरान शहीद हुए वीर सिंह तो याद होंगे। जिनकी चिता जलाने के लिए गाँव वालों ने ज़मीन देने से इनकार कर दिया था क्योंकि वीर सिंह की एक जाति थी। मृत शरीर कई घंटे तक पड़ा रहा। प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद, सड़क किनारे दाह संस्कार हुआ।

Courtesy: National Dastak

Exit mobile version