इंदौर। तमाम तरह के अवैध कामों में लिप्त लोगों में से ज्यादातर का भाजपा कनेक्शन निकल रहा है। नकली नोटों का गोरखधंधा हो या भारी मात्रा में नए नोट पकड़े जाने का, ज्यदातर जगह भाजपा नेताओं का कनेक्शन निकल रहा है। मध्य प्रदेश पुलिस को एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। पुलिस ने सोमवार को दो नाबालिगों से पुछताछ की। बाद में दो अन्य युवकों की गिरफ्तारी की, उनके पास से अवैध 8.4 लाख के नकली नोट बरामद किए हैं। नकली नोट छापने का मुख्य सरगना भाजपा पार्षद आरती जीवन गुरू का भतीजा ललित तिवारी अभी फरार है।
मध्य प्रदेश के एडीजी वी. मधुकुमार ने कहा कि नोटबंदी के बाद ये प्रदेश का सबसे बड़ा मामला है, जिसमें पुलिस को भ्रष्टाचार के खिलाफ एक बड़ी जीत हासिल हुई है। इतनी भारी मात्रा में नकली नोटों का पकड़ा जाना कोई छोटी घटना नहीं है। पुलिस के नकली नोटजब्त करने के बाद से ही ललित समेत अन्य तीन आरोपी शहर से फरार हो गए हैं। पुलिस लगातार उनके छिपने के संभावित ठिकानों पर दबिश दे रही है।
भाजपा पार्षद अजीत तिवारी से पुछताछ करने पर एक बात सामने आई के ललित तिवारी कुछ दिन पहले ही नोटों की गड्डी लेकर इंदौर आया था। उसके इंदौर आने का मकसद किसी से मिलना था। पुलिस ललित तिवारी का इंदौर कनेक्शन खंगालने में लग गई है। नाबालिगों के फोन जांच से भाजयुमो नेता जयंत गरूड़ का नाम भी सामने आया है। हालांकि फोन एक बार ही आया था उसके बाद से दोनों के बीच कोई संम्पर्क नही हुआ।
पुलिस ने मकान पर छापा मार कर प्रिंटर, स्केनर, मॉनीटर, सीपीयू, की बोर्ड, नोट छापने में प्रयुक्त कागज, कटर आदि जब्त कर लिया है। सोमवार को ललित के दो साथी को गिरफ्तार कर लिया गया है, जिसके पास से आठ लाख रू. के नकली नोट मिले हैं।
आरोपी ललित तिवारी फिलहाल बेरोजगार था। एक साल पहले उसके कपड़े की दुकान थी, साथ ही फुटपाथ पर टेडीबियर बेचा करता था। सूरत से उसने कम्प्यूटर फोटो एडिटिंग व डिजाइनिंग का कोर्स किया है। ललित ने बारहवीं तक पढ़ाई की है।
दो हजार के नए नोटों के साथ पकड़े गए नाबालिगों ने बताया कि उसे ये नकली नोट नागाबाबा तलाई मेट्रो टॉकिज की गली में स्थित खेमानीजी के मकान को ललित ने किराए पर लिया हुआ है और वही कुछ लोगो के साथ मिलकर नकली नोटों की छपाई किया करता था।
जब इस मामले की पड़ताल में पुलिस पूर्व भाजपा पार्षद जीवन गुरू से बातचीत करने पहुंची तो, अपने बाचाव में उन्होंने कहा कि ललित मेरा भतीजा है लेकिन इस समय फोन बंद आ रहा है। जब ललित मिले तो उससे पुछिए के वो किससे इशारे पर नकली नोट छापने का धंधा कर रहा था।
Courtesy: National Dastak