लखनऊ। पश्चिमी यूपी में सिर्फ चार दिन बाद ग्यारह फरवरी को वोट डाले जाने हैं, उससे पहले बीजेपी के नेताओं की ओर से जो बयान आ रहे हैं, उससे सवाल उठ रहा है कि क्या बीजेपी हिंदू-मुस्लिम ध्रुविकरण का कार्ड खेल रही है। क्योंकि बात एंटी रोमियो स्कवॉयड से शुरू होकर लव जेहाद तक पहुंच गई है।
छेड़खानी के लिए एंटी रोमियो स्कवॉयड से शुरू हुई बात अब लव जेहाद तक पहुंच गई है। खासकर पश्चिमी यूपी में चुनावी रैलियों में बीजेपी के नेता बहू -बेटियों की सुरक्षा के मुद्दे को लेकर विरोधियों पर खूब गरज और बरस रहे हैं।
अमित शाह ने एक रैली में कहा:- “पूरे पश्चिमी उत्तर प्रदेश की बच्चियों को अभिभावक पढ़ाने के लिए दिल्ली के कॉलेज में दाखिला कराते हैं। क्यों दिल्ली के कॉलेज में कराते हैं ? मेरठ में कॉलेज नहीं हैं क्या ? मुजफ्फरनगर में नहीं हैं ? सहारनपुर में नहीं है ? वहां इसलिए नहीं होता दाखिला, क्योंकि सपा के गुंडे बच्चियों को वहां परेशान करते हैं।
हमने तय किया है कि जिस जिस थाने में कॉलेज है, वहां एंटी रोमियो दल बनाकर सपा के गुंडों को उल्टा लटकाकर सीधा किया जाएगा।’’
बीजेपी के अध्यक्ष अमित शाह ने मनचलों को उल्टा टांगने की बात कही लेकिन इसके बाद जो बात बीजेपी के राष्ट्रीय सह संयोजक सुनील भराला ने मेरठ में कही वो बड़े सवाल खड़ा कर रहा है। भराला बात को लव जेहाद तक ले गए। भराला लव जेहाद के उसी पुराने मुद्दे को उठा रहे हैं, जिसको बीजेपी ने पहले भी मुद्दा बनाया था।
भराला ने कहा- जो लव जिहादी लोग हैं, जो हिन्दू महिला बेटी हैं उनको हाथ में कलावा बांधकर अपने जाल में फंसा लेते हैं और लड़कियों को लाचार कर देते हैं, उसपर बीजेपी ने एंटी रोमियो दल बनाया है।
Courtesy: National Dastak